सोमवार को किसानों और सरकार के बीच वार्ता के दौरान वो गर्मजोशी नहीं देखने को मिली जो 7वें राउंड की बातचीत के दौरान देखने को मिली थी. आज यानी कि 4 दिसंबर को किसानों के प्रदर्शन का 39वां दिन है. आज ही सरकार और किसानों के प्रतिनिधियों के बीच 8वें राउंड की बातचीत हो रही है.
सोमवार को कुछ घंटे की बातचीत के बाद जब दोपहर का भोजन करने का वक्त आया तो दोनों पक्षों के बीच हल्की सी तल्खी दिखी. सूत्रों के अनुसार इस बार किसानों ने सरकार के मंत्रियों के साथ भोजन करने से इनकार कर दिया. जबकि 7वें राउंड की बातचीत के दौरान जब लंच ब्रेक का वक्त हुआ था तो किसानों के संग वार्ता में शामिल रेल मंत्री पीयूष गोयल और नरेंद्र सिंह भी लाइन में लगकर लंगर का खाना खाया था. इसे सकारात्मक पहल के रूप में देखा गया था.
सोमवार की बैठक में किसान संगठनों के प्रतिनिधियों ने कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर, रेल मंत्री पीयूष गोयल और राज्य मंत्री सोम प्रकाश से कहा कि आज हम आपके साथ खाना नही खाएंगे. आज आप अपना खाना खाइए और हम अपना खाना खाएंगे.
बैठक के पहले ही दौरे में किसान संगठनों ने सरकार के मंत्रियों से कहा कि आप हमें ये बताएं कि तीन कृषि कानूनों को सरकार वापस लेगी या नहीं. इस पर कृषि नरेंद्र सिंह तोमर ने कहा कि हम तीन कानूनो में संशोधन के लिए तैयार हैं. इसी बहस के बीच लंच ब्रेक लिया गया.
30 दिसंबर को किसानों के साथ भोजन करते केंद्रीय मंत्री
वहीं आज बहस से पहले पिछले 39 दिनों आंदोलन के दौरान अलग अलग कारणों से जान गंवाने वाले किसानों को श्रद्धांजलि दी गई.
तब साथ खाना भी खाया था. सेल्फी भी ली थी
30 दिसंबर 2020 को 7वें दौर की वार्ता के दौरान न सिर्फ मंत्रियों ने किसानों के साथ लंगर का खाना खाया था, बल्कि कई किसान वार्ताकार रेल मंत्री पीयूष गोयल के साथ सेल्फी लेते हुए भी दिखे थे. किसान तीनों कृषि कानून को रद्द करने की मांग कर रहे हैं और न्यूनतम समर्थन मूल्य की गारंटी मांग रहे हैं.