नई दिल्ली। अफगानिस्तान सरकार बोल रही है कि पाकिस्तान तालिबान को खुला समर्थन कर रहा। अफगान सेना ने इसे लेकर कई बार सबूत दिए हैं। अफगान सेना ने तालिबान से लड़ाई में कई पाक लड़ाकों को मार गिराया है। अफगानिस्तान के राष्ट्रपति अशरफ गनी ने भी कई बार इस मसले को लेकर पाकिस्तान को खरी-खोटी सुनाई है।
तालिबान स्ट्रेटजिक पार्टनर है: पाकिस्तान
पाकिस्तान के पूर्व सीनेटर हैं अफरासिआब खटक। उन्होंने अफगानिस्तान में पाकिस्तान के रोल को लेकर अपनी बात रखी है। उन्होंने मीडिया से बात करते हुए कहा, ‘पाकिस्तान पूरी तरह से तालिबान का समर्थन कर रहा है। तालिबान एक तरह से अफगानिस्तान में पाकिस्तान का स्ट्रेटजिक पार्टनर है। पाकिस्तान तालिबान को आगे बढ़ता देख बहुत खुश है। पाकिस्तान अफगानिस्तान में आतंकी गतिविधियों में शामिल हैं। हजारों बॉडीज पाकिस्तान आ रही हैं सभी को दिख रहा हैं लेकिन इमरान सरकार इससे इनकार करती है।
तालिबान को समर्थन कर रहा है इमरान खान का बयान
हाल ही में पाकिस्तान के पीएम इमरान खान ने कहा था कि जब तक अशरफ गनी अफगानिस्तान के राष्ट्रपति बने रहेंगे तब तक तालिबान अफगानिस्तान सरकार से बात नहीं करेगा। इमरान खान के इस बयान को भी तालिबान के समर्थन के रूप में देखा गया है।
कंधार पर भी तालिबान का कब्जा
अमेरिकी सेना के लौटने के साथ ही तालिबान ने अफगानिस्तान में हमला तेज कर दिया। अब तक 160 से अधिक जिलों और 10 से अधिक प्रांतीय राजधानियों पर कब्जा कर चुका है और 10 प्रांतीय राजधानियों को सीधे तौर पर खतरा है। तालिबान ने अफगानिस्तान के दूसरे सबसे बड़े शहर कंधार पर भी कब्जा जमा लिया है।