यूपी : 14 वर्षीय मासूम बच्चे की रेबीज से तड़प तड़प कर मृत्यु हो गयी, शर्मनाक बात है कि उसकी मृत्यु, अस्तपताल में इलाज न मिलने के कारण हुई. उसने तड़प तड़प कर अपने पिता की गोद में एम्बुलेंस में दम तोड़ दिया. अस्पताल में इलाज मिल जाने की आश में, 3 दिन से एम्बुलेंस में भटक रहे थे परिजन.
यह घटना गाजियाबाद के विजयनगर थाना क्षेत्र के चरण सिंह कॉलोनी की है. परिजन का रो- रोकर बुरा हाल है.
रेबीज का अगर समय से इलाज नहीं कराया जाए तो मरीज तड़प तड़प कर मर जाता है उसके बेहोशी या कोमा में जाने की संभावना बनी रहती है. इसलिए कुत्ते के काटने पर कभी भी इसे हलके में न ले, तुरंत डॉक्टर के परामर्श से रेबीज के टिका लगवाए.
5 दिन पहले साबेज नाम के लड़के में रेबीज के लक्षण नज़र आये थे. उसके मुंह से लार टपक रही थी. वह हवा, पानी से डरने लगा, अँधेरे में रहना लगा. उसकी गंभीर हालत को देखते हुए उसके परिजन उसको अस्तपताल लेकर गए, परिजन लड़के को इलाज के लिए गाजियाबाद जिला अस्तपताल एम एम जी के अलावा मेरठ और दिल्ली के जीटीबी अस्तपताल, एम्स भी ले गए, लेकिन कंही भी उसका इलाज नहीं हुआ. जिससे इलाज न मिलने के कारण मासूम बच्चे की तड़प तड़प कर मृत्यु हो गयी.
याकूब के बेटे को एक महीने पहले कुत्ते ने काट लिया था, मुंह से लार टपक रही थी, वह पानी पीने से भी डर रहा था. बच्चे ने डर के मारे परिजन को पहले कुछ नहीं बताया था. तबियत ज्यादा बिगड़ने के बाद ही बताया, दूसरी लापरवाही परिवार ने की, उन्होंने अपने बच्चे की तबियत ख़राब शुरु होने पर तुरंत डॉक्टर को नहीं दिखाया. जब तबियत ज्यादा ख़राब हो गयी और लड़के ने कुत्ते द्वारा काटे जाने की बात कही, तब गंभीर हालत में अस्तपताल ले गए. जंहा तीसरी सबसे बड़ी लापरवाही उन अस्तपतालो की थी जिन्होंने साबेज का इलाज नहीं किया.
परिजन ने प्रशासन से कार्यवाही करने की मांग की है ताकि किसी के साथ भी ऐसा अन्याय न हो जैसा उनके साथ हुआ. चौथी लापरवाही उनकी पड़ोस की महिला की है, जिसके कुत्ते ने साबेज को काटा था, उसके पास उस कुत्ते के अलावा 5-6 कुत्ते और है. नगर निगम ने उनके पड़ोस की महिला को नोटिस भेजा है और तुरंत जवाब माँगा है.