बेहतर राष्ट्र निर्माण के लिए दिल्ली के सभी स्कूलों में बच्चों को देश भक्ति का पाठ पढ़ाया जाएगा।
दिल्ली के उप-मुख्यमंत्री एव शिक्षा मंत्री मनीश सिसोदिया ने कहा है कि दिल्ली के सभी स्कूलों में बच्चों के लिए अगले शिक्षा के सत्र में देशभक्ति पाठ्यक्रम की शुरुआत की जाएगी। मनीष सिसोदिया ने इस विषय पर कहा कि, “भारत के गौरव और हमारे संवैधानिक मूल्य सिर्फ किताबों तक सीमित नहीं रहने चाहिए, उसे जीवन में उतारने कि जरुरत है.” इसी के चलते अगले शैक्षणिक सत्र में इस पाठ्यक्रम को जोड़ा गया है।
मूल्य और कौशल विकसित करना उद्देश्य
दिल्ली सरकार द्वारा कहा गया है कि सभी स्कूलों में केजी से आठवीं तक की कक्षाओं में बच्चों के देशभक्ति का पाठ्यक्रम अनिवार्य होगा। इसमें स्वयं, परिवार, स्कूल, समाज, राष्ट्र और विश्व को लेकर समझ विकसित की जाएगी। दिल्ली सरकार का ये भी कहना है कि इस पाठ्यक्रम का उद्देश्य बच्चों में उन मूल्यों और कौशलों को विकसित करना हैं। जिससे बच्चें ऐसे नागरिक बन सके जो राष्ट्र निर्माण में योगदान दे सकें ,और सक्रिय नागरिक बन सकें।
कमेटी का गठन
देशभक्ति पाठ्यक्रम के लिए एक कमेटी का भी गठन किया गया है। दिल्ली सरकार ने बताया कि इस पाठ्यक्रम का मुख्य उद्देश्य छात्रों में देश के लिए गर्व और जिम्मेदारी की भावना पैदा करना है। इस पाठ्यक्रम छात्रों में स्वयं के आत्मबोध से समानता और बंधुत्व जैसे संवैधानिक और सामाजिक मूल्यों जीने के लिए कौशल प्रदान करने का प्रयास किया जाएगा। पाठ्यक्रम में विभिन्न तरीकों को अपनाया जाएगा, जिसमें समूह-कार्य, माइंड मैपिंग, रोल प्ले, ग्रुप रिफ्लेक्शन गतिविधियां, कहानी आदि शामिल है।