अफ़्गानिस्तान में बढ़ रहा तालिबानियों का आतंक
नई दिल्ली। जहां एक ओर भारत से दूर अफ़्गानिस्तान के लोग तालिबानियों के आतंक से बचाव के लिए दुनिया से मदद की गुहार लगा रहे हैं। तो वही दूसरी ओर तालीबान अपने चरमपंथी होने का सबूत देते हुए आतंक फैला कर अफ़्गानिस्तान के कई बड़े व महत्तवपूर्ण शहरों पर कब्ज़ा कर रहा हैं। दरअसल बीते गुरूवार ख़बर आई कि तालिबान ने अफ़गानिस्तान के तीसरे सबसे बड़े शहर हेरात पर कब्ज़ा कर चुका है।
गज़नी पर भी कब्ज़ा
अमेरिकी सेना के लौटने के बाद अफ़्गानिस्तान पर हमला बोलने वाले आतंकि संगठन तालिबान ने कंधार प्रांत फतह करने से पहले गुरुवार को तालिबान ने दो और प्रांतीय राजधानी गजनी और हेरात पर कब्जा कर लिया था।
काबुुल पर हो सकती हैं निगाहें
अफ़्ग़ानिस्तान के कई प्रांतों को कब्जाने वाले तालीबान ने दूसरे सबसे बड़े शहर कंधार को भी कब्जा लिया था। जो अफ़्ग़ानिस्तान की राजधानी काबुल से करीब 500 मीटर दूर हैं। जिससे पूरी दुनिया इसकी आशंका जता रही है कि तालिबान का अगला निशाना राजधानी काबुल हो सकता है।
करीब 4 लाख लोग हो चुके है विस्थापित
संयुक्त राष्ट्र प्रमुख एंतोनियो गुटेरस के प्रवक्ता स्टीफन दुजारिक ने बताया कि, इस साल की शुरुआत से करीब 3,90,000 लोग देश में संघर्ष के कारण विस्थापित हुए हैं जिनकी संख्या मई में एकाएक बढ़ी है। एक जुलाई से पांच अगस्त, 2021 के बीच मानवीय समुदाय ने सत्यापित किया है कि आंतरिक रूप से विस्थापित 5,800 लोग काबुल पहुंचे जो संघर्ष एवं अन्य खतरों से बचाने की गुहार लगा रहे हैं।