तीसरी लहर से बचाव के दिए ये सुझाव
नई दिल्ली। देशभर में कोरोना ने त्राहि त्राहि मचा रखी है। कोरोना वायरस की दूसरी लहर ने भारत में इतना बवंडर मचा रखा है की इससे निजात पाना मुश्किल हो रहा है। ऐसे में पूरे देश पर तीसरी लहर आने का खतरा भी मंडरा रहा है। दूसरी लहर के इस रूप को देखते हुए सरकार अभी से तैयारी में जुटी है ताकि तीसरी वेव के खतरे को कम कर सकें। कोरोना महामारी की थर्ड वेव अक्टूबर से पहले नहीं आएगी। वहीं दूसरी लहर जुलाई माह तक लगभग पूरी तरह खत्म हो जाएगी। यह बात आईआईटी के वरिष्ठ वैज्ञानिक, पद्मश्री व कंप्यूटिंग मॉडल से कोरोना की लहर को बताने वाले प्रो. मणींद्र अग्रवाल ने कही। उन्होंने सरकार को थर्ड वेव से निपटने के लिए कई सुझाव भी दिए हैं। उन्होंने यह दावा इसी मॉडल के आधार पर किया है।
अक्टूबर में तीसरी लहर आने के दिए संकेत
कोरोना की दूसरी लहर इतनी भयानक है कि चारों तरफ मातम छाया हुआ है। इसी बीच प्रो. मणींद्र अग्रवाल ने कोरोना की पहली और दूसरी लहर के डाटा के आधार पर एक मॉडल तैयार किया है। जिसके आधार पर वे कोरोना का पीक और उसके उतार के बारे में जानकारी दे रहे हैं। बता दें कि पिछले महीने से शुरू हुए इस मॉडल का अनुमान अब तक सही जा रहा है। मॉडल के अनुरूप ही प्रदेश में कोरोना का पीक व उतार हो रहा है। इसी मॉडल के अनुसार ही उन्होंने बताया है कि जुलाई तक पूरे देश में कोरोना की स्थिति लगभग सामान्य हो जाएगी।
स्थिति सामान्य होने पर युद्ध स्तर पर हो तैयारी
इस महामारी और तीसरी वेव के खतरे से निपटने के लिए प्रो. मणींद्र ने सुझाव देते हुए कहा कि स्थिति सामान्य होने पर राहत लेने के बजाए युद्ध स्तर पर तैयारी करने की आवश्यकता होगी, जिससे अक्टूबर में आने वाली थर्ड वेव के खतरे को कम किया जा सके।
इन सुझावों का हो पालन
केवल यही सुझाव है जो देश को कोरोना जैसी महामारी से मुक्त कर सकते हैं।
- सेकेंड वेव खत्म होने के बाद भी मास्क व सोशल डिस्टेंसिंग का कड़ाई से पालन कराया जाना जरूरी है।
- अक्टूबर से पहले तक 90 फीसदी लोगों को वैक्सीनेशन हो जाए।