दारुलशफा से उमर अंसारी गिरफ्तार: अफ़शां अंसारी के फर्जी हस्ताक्षर से जुड़े मामले में गाजीपुर पुलिस की बड़ी कार्रवाई!

लखनऊ, पूर्वांचल की सियासत में हलचल मचाने वाली बड़ी कार्रवाई रविवार को तब हुई जब गाजीपुर पुलिस ने लखनऊ के दारुलशफा स्थित विधायक निवास से माफिया से नेता बने मुख्तार अंसारी के छोटे बेटे उमर अंसारी को गिरफ्तार कर लिया।

मुख्तार अंसारी की मृत्यु के बाद भी पूर्वांचल की राजनीति में उनका प्रभाव बना हुआ है। ऐसे में उनके बेटे की गिरफ्तारी को राजनीतिक और कानूनी दोनों दृष्टि से अहम माना जा रहा है।

मामला क्या है?

पूरे प्रकरण की जड़ एक याचिका है, जो मुख्तार अंसारी की पत्नी अफ़शां अंसारी के नाम से अदालत में दायर की गई थी।
यहां ध्यान देने योग्य बात यह है कि पुलिस रिकॉर्ड में अफ़शां अंसारी फरार घोषित हैं और उनके ऊपर ₹50,000 का इनाम घोषित है। उनके खिलाफ लुक आउट नोटिस भी जारी किया जा चुका है और कई एजेंसियां उनकी तलाश कर रही हैं।

ऐसे में सवाल उठता है कि यदि अफ़शां अंसारी फरार हैं, तो वह अदालत में याचिका कैसे दायर कर सकती हैं, और उस पर उनके हस्ताक्षर कैसे हो सकते हैं?

फर्जी हस्ताक्षर का संदेह

गाजीपुर पुलिस ने जब इस याचिका की गहराई से जांच शुरू की तो यह संदेह गहराया कि अफ़शां अंसारी के नाम से दायर की गई याचिका में हस्ताक्षर फर्जी हैं।
इस आशंका की पुष्टि तब और पुख्ता हुई जब पुलिस को संदेह हुआ कि ये फर्जी हस्ताक्षर उनके बेटे उमर अंसारी द्वारा किए गए हैं, और इस पूरे मामले में मुख्तार अंसारी के परिवार के वकील लियाकत अली ने सहयोग किया।

दो गिरफ्तारियां

यही वजह रही कि कल (रविवार) गाजीपुर पुलिस ने दो लोगों को गिरफ्तार किया — उमर अंसारी और वकील लियाकत अली।
पुलिस अधिकारियों के अनुसार, यह कार्रवाई धोखाधड़ी, फर्जीवाड़ा और न्याय प्रक्रिया में बाधा डालने जैसे गंभीर आरोपों के तहत की गई है।

एफआईआर में क्या है?

पुलिस ने इस संबंध में दर्ज एफआईआर में स्पष्ट उल्लेख किया है कि याचिका में प्रयुक्त हस्ताक्षर जांच के बाद असली प्रतीत नहीं हुए और उन्हें ग़लत ढंग से प्रस्तुत किया गया।
एफआईआर में उमर अंसारी और वकील लियाकत अली के नाम दर्ज हैं। साथ ही, इसमें यह भी कहा गया है कि गिरफ्तार किए गए दोनों व्यक्तियों ने न्यायालय को भ्रमित करने की कोशिश की, जो एक दंडनीय अपराध है।

(नोट: यदि पाठक चाहें तो एफआईआर की प्रति संलग्न पोस्ट या वेबसाइट पर देख सकते हैं।)

राजनीतिक हलचल तेज

उमर अंसारी की गिरफ्तारी के बाद पूर्वांचल की राजनीति में नई सरगर्मी देखने को मिल रही है।
हालांकि मुख्तार अंसारी का निधन हो चुका है, लेकिन उनके परिवार का राजनीतिक रसूख अब भी कायम है।
इस गिरफ्तारी को कई लोग सियासी संकेत भी मान रहे हैं, खासकर जब विधानसभा उपचुनाव और स्थानीय निकाय चुनाव जैसे मुद्दे सामने हैं।

आगे की कार्रवाई

गाजीपुर पुलिस उमर अंसारी को लखनऊ से गिरफ्तारी के बाद सीधे गाजीपुर लेकर रवाना हो चुकी है।
वहां उनसे विस्तृत पूछताछ की जाएगी और कल इस पूरे मामले में पुलिस द्वारा एक औपचारिक प्रेस ब्रीफिंग की संभावना है।

पुलिस इस बात की भी जांच कर रही है कि क्या उमर अंसारी और उनके वकील ने अकेले यह फर्जीवाड़ा किया, या इसमें परिवार के अन्य सदस्य भी संलिप्त हैं।