
मौसम विभाग ने जारी की चेतावनी, आम जनता और किसानों से सतर्कता बरतने की अपील
लखनऊ। उत्तर प्रदेश में मानसून एक बार फिर सक्रिय हो गया है और इसका प्रभाव आगामी तीन दिनों में प्रदेश के अधिकांश हिस्सों में देखने को मिलेगा। भारत मौसम विज्ञान विभाग (IMD) के लखनऊ केंद्र द्वारा 2 अगस्त 2025 को जारी ताज़ा बुलेटिन के अनुसार, 2 अगस्त से 5 अगस्त तक राज्य के 50 से अधिक जिलों में भारी से बहुत भारी बारिश, वज्रपात (आकाशीय बिजली) और तेज हवाएं चलने की आशंका जताई गई है। विभाग ने इस अवधि के लिए येलो, ऑरेंज और रेड अलर्ट जैसे रंग-आधारित चेतावनी संकेत जारी किए हैं। यह चेतावनी तीन चरणों में विभाजित की गई है, जिसमें प्रत्येक दिन के लिए अलग-अलग ज़िलों में मौसम की गंभीरता का पूर्वानुमान जताया गया है।
मौसम विभाग ने साफ शब्दों में कहा है कि इस दौरान प्रदेश के विभिन्न हिस्सों में बिजली गिरने, सड़कों पर जलभराव, यातायात अवरोध, फसलों को नुकसान, तथा जन-धन हानि की आशंका है। मौसम की यह उथल-पुथल केवल बारिश तक सीमित नहीं रहेगी, बल्कि तेज हवाओं और गरज-चमक के साथ वज्रपात की घटनाएं भी दर्ज की जा सकती हैं। ऐसे में आम जनता के साथ-साथ किसानों और प्रशासन को भी विशेष सतर्कता बरतने की सलाह दी गई है।
दिन 1 (2 अगस्त सुबह 8:30 बजे से 3 अगस्त सुबह 8:30 बजे तक)
पहले दिन प्रदेश के मध्य, पूर्वी और दक्षिण-पश्चिम हिस्सों में भारी वर्षा और वज्रपात की संभावना जताई गई है। मौसम विभाग के अनुसार, इस दौरान बांदा, चित्रकूट, कौशांबी, प्रयागराज, फतेहपुर, मिर्जापुर, सोनभद्र, चंदौली, वाराणसी, संत रविदास नगर, जौनपुर, गाज़ीपुर, बलिया, मऊ, भदोही, लखनऊ, कानपुर नगर, कानपुर देहात, हरदोई, बाराबंकी, अमेठी, रायबरेली, सुल्तानपुर, अयोध्या, अंबेडकर नगर, बस्ती, गोंडा, श्रावस्ती, बहराइच, सीतापुर, शाहजहांपुर, लखीमपुर खीरी, पीलीभीत, मथुरा, आगरा और फिरोजाबाद जिलों में भारी वर्षा हो सकती है।
साथ ही इन इलाकों में तेज हवाएं और वज्रपात की घटनाएं भी संभावित हैं, जिससे जन-धन को खतरा हो सकता है। अमेठी, रायबरेली, प्रतापगढ़, ललितपुर, झांसी, उरई, इटावा, अलीगढ़, बदायूं, रामपुर और बरेली में वज्रपात के साथ गरज-चमक के आसार हैं।
दिन 2 (3 अगस्त सुबह 8:30 बजे से 4 अगस्त सुबह 8:30 बजे तक)
दूसरे दिन मौसम का मिजाज और भी विकराल होने की संभावना है। गोरखपुर, संत कबीर नगर, बलरामपुर, सिद्धार्थ नगर, कुशीनगर और महाराजगंज में बहुत भारी वर्षा की चेतावनी जारी की गई है। इन क्षेत्रों में स्थानीय बाढ़ और जलभराव जैसी समस्याएं उत्पन्न हो सकती हैं।
साथ ही प्रतापगढ़, सुल्तानपुर, अयोध्या, अंबेडकर नगर, बाराबंकी, लखनऊ, कानपुर नगर/देहात, औरैया, फर्रुखाबाद, हरदोई, सीतापुर, लखीमपुर, बलिया, देवरिया, बस्ती, बहराइच, श्रावस्ती, पीलीभीत, शाहजहांपुर, मथुरा, अलीगढ़, बदायूं, मैनपुरी, आगरा, इटावा और आसपास के क्षेत्रों में भारी वर्षा, वज्रपात और तेज हवाएं संभावित हैं।
दिन 3 (4 अगस्त सुबह 8:30 बजे से 5 अगस्त सुबह 8:30 बजे तक)
तीसरे दिन मौसम विभाग ने कुशीनगर, सिद्धार्थ नगर, गोंडा, बलरामपुर, महाराजगंज, बहराइच, लखीमपुर खीरी, अलीगढ़, मथुरा, हाथरस, आगरा, शाहजहांपुर, बदायूं, पीलीभीत और आसपास के ज़िलों के लिए रेड अलर्ट जारी किया है। इन इलाकों में बहुत भारी वर्षा, तेज हवाएं और वज्रपात का खतरा गंभीर रूप से बना रहेगा।
वहीं दूसरी ओर, प्रदेश के अन्य जिलों जैसे बांदा, चित्रकूट, प्रयागराज, फतेहपुर, गाजीपुर, कानपुर, लखनऊ, सीतापुर, अयोध्या, अमेठी, बाराबंकी, हरदोई, बरेली, फर्रुखाबाद, शाहजहांपुर, मथुरा, बदायूं, रामपुर आदि में भी भारी वर्षा, आकाशीय बिजली और तेज़ हवाओं की संभावना बनी हुई है।
मौसम विभाग की रंग-आधारित चेतावनी व्यवस्था:
रंग
चेतावनी संकेत
कार्यवाही
🟢 हरा
कोई खतरा नहीं
सामान्य स्थिति
🟡 पीला
सतर्क रहें
मौसम बिगड़ सकता है
🟠 नारंगी
तैयार रहें
गंभीर स्थिति संभव
🔴 लाल
कार्यवाही करें
अत्यंत गंभीर/खतरनाक स्थिति
संभावित नुकसान:
- जलभराव और बाढ़ जैसी स्थिति से आम जनजीवन अस्त-व्यस्त हो सकता है।
- कच्चे मकानों, दीवारों और पेड़ों के गिरने का खतरा।
- आकाशीय बिजली गिरने से जान-माल को नुकसान।
- फसलों में जलभराव से धान, मक्का, गन्ना, मूंग, उड़द, तिल आदि की फसलें प्रभावित हो सकती हैं।
- पशुपालन प्रभावित, मवेशियों के चारे-पानी में दिक्कतें आ सकती हैं।
- यातायात और संचार व्यवस्था बाधित, दृश्यता में कमी, बिजली आपूर्ति में व्यवधान।
आम नागरिकों के लिए सुझाव:
- खराब मौसम में बाहर निकलने से बचें, यात्रा स्थगित करें।
- पेड़ों, बिजली के खंभों, और जलजमाव वाली जगहों से दूर रहें।
- वज्रपात के समय मोबाइल, टीवी, रेडियो आदि इलेक्ट्रॉनिक उपकरणों से दूरी बनाए रखें।
- बच्चों, बुजुर्गों और बीमार लोगों को विशेष सावधानी बरतने की सलाह दें।
- प्रशासन और मौसम विभाग की चेतावनियों का पालन करें।
किसानों के लिए विशेष सावधानियां:
- खेतों में जल निकासी की समुचित व्यवस्था करें।
- फसलों की कटाई/गहाई का कार्य तेज़ी से निपटाएं या बीजों/उपकरणों को ढककर रखें।
- खरपतवार नियंत्रण और कीट-रोग प्रबंधन जैसे कार्य इस अवधि में स्थगित रखें।
- पशुओं को सुरक्षित शेड में रखें, शेड की मरम्मत करें और चारा-पानी की व्यवस्था सुनिश्चित करें।
उत्तर प्रदेश में आगामी तीन दिनों के दौरान मौसम गंभीर रूप से खराब रहने की आशंका है। लखनऊ से लेकर बलिया, गोंडा से लेकर आगरा तक अधिकांश जिलों में भारी से बहुत भारी वर्षा, वज्रपात और तेज़ हवाएं चलने की चेतावनी जारी की गई है। मौसम विभाग की मानें तो यह स्थिति जनजीवन, फसल और पशुपालन तीनों को प्रभावित कर सकती है। ऐसे में आम नागरिकों, किसानों और प्रशासन से अपेक्षा की जाती है कि वे समय रहते सतर्कता बरतें, सरकारी निर्देशों का पालन करें और सुरक्षित स्थानों पर रहें।
प्रमुख, मौसम विज्ञान केंद्र, लखनऊ की अपील है कि हर नागरिक इस अलर्ट को गंभीरता से ले, अफवाहों से दूर रहें और आवश्यक आपदा प्रबंधन सेवाओं से संपर्क बनाए रखें।