नई दिल्ली। भारत में 5 सितंबर को ‘शिक्षक दिवस’ के तौर पर मनाया जाता है। यूनेस्को ने साल 1994 में 5 अक्टूबर को टीचर्स डे यानी शिक्षक दिवस मनाने की घोषणा की थी। यानी एक एसा दिन जब शिक्षा के ज़रिए नई पीढ़ी को ज्ञान प्रदान करने वालों का सम्मान हो। लेकिन क्या आप जानते हैं की आखिर क्यों हर साल भारत में 5 सितंबर को ही मनाया जाता है शिक्षक दिवस?
‘शिक्षक दिवस’ मनाने के पीछे का इतिहास
स्वतंत्र भारत के पहले उपराष्ट्रपति डॉ सर्वपल्ली राधाकृष्णन का जन्म 5 सितंबर, 1888 को हुआ था। जब सर्वपल्ली राधाकृष्णन के छात्र उनके पास पहुंचे और इस विशेष दिन को मनाना चाहते थे तब डॉ राधाकृष्णन ने उनसे हमारे समाज में शिक्षकों के योगदान और प्रयासों को पहचानने के लिए इस दिन को चिह्नित करने का अनुरोध किया। इसी कारण सर्वपल्ली राधाकृष्णन की याद में भारत में 5 सितंबर को शिक्षक दिवस के रूप में मनाया जाता है।
देश भर में मनाया जाता है शिक्षक दिवस
दिलचस्प बात यह है की ‘शिक्षक दिवस’ विश्व के ज्यादातर देशों में मनाया जाता है, लेकिन सबने इसके लिए अलग-अलग दिन निर्धारित किए हुए हैं। इसलिए कुछ देशों में ‘शिक्षक दिवस’ वाले दिन छुट्टी रहती है, वहीं बाकी देशों में उस दिन रोज़मर्रा की तरह ही कामकाजी दिन रहता है। शिक्षक दिवस के दिन स्कूलों और कॉलेजों में बच्चे अपने शिक्षकों और गुरुओं के सम्मान में उनके लिए अनेक तरह के कार्यक्रमों का आयोजन करते हैं।