झारखंड चुनाव को लेकर एनडीए कुनबे में हुआ टिकटों का बंटवारा, नीतीश– पासवान की अपेक्षा इस क्षेत्रीय पार्टी का रखा गया ज़्यादा ख्याल

Jharkhand election news : झारखंड में एनडीए के द्वारा विधान सभा चुनाव के लिए सीटों का बंटवारा हो गया है. आज शुक्रवार को हुई घटक दलों की बैठक के दौरान बीजेपी, लोजपा (पासवान), जेडीयू, आजसू के नेता शामिल हुए. हालांकि सहयोगी दल जेडीयू और लोजपा के द्वारा मांगी गई सीटों के अनुकूल बंटवारा नहीं हुआ है. बीजेपी ने क्षेत्रीय पार्टी आजसू का टिकटों को लेकर पूरा ख्याल रखा गया है. फ़िलहाल सीट वितरण के बाद किसी भी घटक दल की तरफ से कोई प्रतिक्रिया नहीं आई है

हरियाणा और जम्मू कश्मीर के बाद होने जा रहे चुनाव को लेकर एनडीए गठबंधन ने झारखंड विधान सभा के लिए टिकटों का बंटवारा कर दिया है. गठबंधन की तरफ से की गई बैठक में बीजेपी , आजसू, लोजपा (रामविलास), और जेडीयू के नेता शामिल हुए. जिसमे आपसी बात चीत के बाद सीटों को लेकर घोषणा कर दी गई है . बीजेपी ने अपनी पिछली बार आजसू से गठबंधन ना करने की गलती को सुधारते हुए पार्टी का पूरा ध्यान रखा है. वहीं बीजेपी के दो अन्य सहयोगी जेडीयू और लोजपा को उनकी उम्मीद के मुताबिक हिस्सेदारी नहीं मिली है . हालांकि दोनों पार्टियों की तरफ से सीट बंटवारे को लेकर कोई बयान सामने नहीं आया है. वहीं बीजेपी का कहना है कि सत्ता रूढ़ दल को हटाने के लिए टिकटों का इस प्रकार से वितरण करना जरुरी था. पार्टी ने चुनाव प्रचार की कमान अपने स्टार नेताओं शिवराज सिंह चौहान और हेमंत बिस्वजीत सरमा के जिम्में सौंपी है. आपकों बता दें कि प्रदेश की 81 सीटों पर दो चरणों में चुनाव 13 नवंबर और 20 नवंबर को होने जा रहा है. जिसका परिणाम 23 नवंबर को घोषित किया जाएगा. गौरतलब है कि यदि 26नवंबर तक यदि प्रदेश में सरकार नहीं बन पाती है तो झारखंड में राष्ट्रपति शासन लागू कर दिया जाएगा

एनडीए ने किया सीटों का बंटवारा
आगामी चुनाव को लेकर सभी पार्टियों में हलचल मची हुई है. जिसको देखते हुए आज एनडीए ने टिकटों का बंटवारा कर दिया है. 81 विधान सभा वाले इस राज्य में गठबंधन की तरफ से बीजेपी अड़सठ , आजसू दस, जेडीयू दो व एक लोजपा(रामविलास) को देने की घोषणा की गई है. सीटों के बंटवारे को लेकर बीजेपी ने कहा कि चुनाव में प्रदेश सरकार को शिकस्त देने को ध्यान में रखते हुए बंटवारा किया गया है. आरक्षित सीटों ने बिगाड़ा था पिछले चुनाव में खेलाबीजेपी के लिए सबसे बड़ी चुनौती यहां का आरक्षित क्षेत्र है. 2024 लोक सभा चुनाव के दौरान बीजेपी झारखंड की पांचों आरक्षित सीटों पर हार गई थी. पार्टी के अधिकतर उम्मीदवारों को यहां पर लाखों वोटों से शिकस्त मिली थी. ऐसे में एनडीए के लिए ये क्षेत्र बड़ी चुनौती बन सकता है. अगर प्रअनसूचित जनजाति और अनुसूचित जाति के आधार पर आरक्षित सीटों की बात की जाए तो प्रदेश 28 सीटों अनुसूचित जनजाति और 9 अनुसूचित जाति के लिए सुरक्षित हैं. वहीं झारखंड में वोटों के लिहाज़ से भी देखें तो 26 फीसदी एसटी और 12 फीसदी वोटर हैं, जिनका साथ चुनाव जीतने के लिए बेहद जरूरी है.

सरमा और चौहान को मिली प्रदेश की कमान

टिकटों के बंटवारे के साथ ही बीजेपी ने अपने दो दिग्गज नेताओं को झारखंड चुनाव की जिम्मेदारी सौंप दी है. आसाम के मुख्य मंत्री हेमंत बिस्वजीत सरमा और मध्य प्रदेश के पूर्व सीएम शिवराज सिंह चौहान प्रदेश में पार्टी के प्रचार का कार्यभार संभालेंगे. हिंदुत्ववादी छवि वाले सरमा अपनी तीखी टिप्पणियों के लिए भी जाने जाते हैं. वहीं शिवराज सिंह चौहान के नेतृत्व में पार्टी कई दशकों से सफलता हासिल करती आई है. अब देखना हो गया झारखंड के लिए उतारे गए ये दोनों सूरमा बीजेपी गठबंधन के लिए कितने उपयोगी साबित होते हैं

लेखक : नकुल जैन