Rajasthan Bus Fire: जैसलमेर बस हादसा में 20 लोगों की मौत, DNA टेस्ट से होगी पहचान

Rajasthan Bus Fire: राजस्थान के जैसलमेर में हुआ एक ऐसा हादसा जिसने पूरे देश को हिला दिया है, एक AC स्लीपर बस में लगी आग ने 20 ज़िंदगियों को पलभर में राख में बदल दिया। कुछ ही मिनटों में बस राख का ढेर बन गई और अब, शवों की पहचान सिर्फ़ DNA सैंपलिंग से ही हो पाएगी, जोधपुर के महात्मा गांधी अस्पताल और AIIMS की मॉर्चरी में अब वो शव रखे गए हैं

Rajasthan Bus Fire: जैसलमेर बस हादसा – 20 की मौत, हड्डियों से पहचान!

जिन्हें देख पाना किसी के लिए भी आसान नहीं। 19 शवों को जोधपुर लाया गया है, जिनकी हालत इतनी खराब है कि पहचान लगभग नामुमकिन है। अब प्रशासन DNA टेस्ट के ज़रिए इनकी पहचान कराने की कोशिश कर रहा है। मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा और चिकित्सा मंत्री गजेंद्र सिंह खींवसर ने जोधपुर पहुंचकर घायलों से मुलाकात की।

15 झुलसे यात्री फिलहाल बर्न यूनिट में भर्ती हैं… जिनमें से दो की हालत बेहद नाज़ुक बताई जा रही है। ये हादसा मंगलवार दोपहर हुआ जब जैसलमेर से जोधपुर जा रही AC स्लीपर बस में शॉर्ट सर्किट से आग लगी। लपटें इतनी तेज़ थीं कि बस में बैठे लोग कूद भी नहीं पाए। बस में सिर्फ़ एक दरवाज़ा था… और यही बना मौत का जाल।

हादसे के बाद जोधपुर और जैसलमेर में मातम पसरा है। कई परिवार अब भी अपने लापता प्रियजनों की तलाश में अस्पताल और मॉर्चरी के चक्कर काट रहे हैं। प्रशासन ने लोगों से अपील की है कि जिनके परिजन गायब हैं, वे DNA सैंपलिंग में सहयोग करें।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी हादसे पर दुख जताया है और प्रधानमंत्री राहत कोष से मुआवजे का ऐलान किया है। मृतकों के परिजनों को ₹2 लाख, और घायलों को ₹50,000 की सहायता दी जाएगी। इस हादसे के बाद RTO और पुलिस हरकत में आ गए हैं। जोधपुर में देर रात तक बसों की चेकिंग का अभियान चलाया गया।

लगभग 150 बसों की जांच की गई और 30 से ज़्यादा बसों के चालान काटे गए। इस हादसे ने कई घरों के चिराग बुझा दिए…आर्मी के जवान महेंद्र मेघवाल अपने परिवार के साथ दिवाली पर घर लौट रहे थे…लेकिन रास्ते में आग ने सब कुछ छीन लिया। महेंद्र, उनकी पत्नी पार्वती और तीनों बच्चों की मौत हो गई।

अब इस त्रासदी पर राजनीति भी शुरू हो गई है। पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने सवाल उठाया नई बस में इतनी तेजी से आग कैसे लगी, वहीं, हनुमान बेनीवाल ने सरकार पर हमला बोला कि गंभीर घायलों को एयरलिफ्ट क्यों नहीं किया गया, दिवाली से ठीक पहले, राजस्थान पर छा गया है मातम का साया, 20 परिवारों की खुशियाँ राख हो गईं…अब बस इंतज़ार है , DNA रिपोर्ट आने का, ताकि हर परिवार को अपने प्रिय की पहचान मिल सके और अंतिम विदाई दी जा सके।