नई दिल्ली। 15 सितंबर जब बालीवुड के जाने माने अभिनेता सोनू सूद की लखनऊ और मुंबई में स्थित संपत्तियों पर आयकर विभाग छापा मार रही थी, उसी वक्त सैंकड़ों किलोमीटर दूर बिहार के सीमांचल में कटिहार जिले के दो स्कूली छात्रों के बैंक खाते में 900 करोड़ रुपये से ज्यादा की रकम आई और धीरे-धीरे अगली सुबह तक सारी रकम चली भी गयी।
दो स्कूली छात्रों के बैंक खाते में आए थे 960 करोड़ रुपये
बिहार के सीमांचल में कटिहार जिले के दो स्कूली छात्र गुरूचंद्र विव्श्रास और असित कुमार के बैंक खाते में 960 करोड़ रुपये आए थे। जिसे देख कर सभी चौके हुए थे। यह दोनों बच्चें अपने खाते में आने वाली पोशाक के रुपये की जानकारी लेने आए थे। तभी उन्हें पता चला कि छात्र असित कुमार के खाते में 900 करोड़ रुपये से ज्यादा और गुरूचंद्र विव्श्रास के खाते में 60 करोड़ रुपये से ज्यादा की राशि जमा हुई है। जिसके बारे में उन्हें कोई खबर नहीं थी। यह सब उसी दरम्यान हो रहा था जब सोनू सूद की लखनऊ और मुंबई में स्थित संपत्तियों पर इनकम टैकस डिपार्टमेंट का छापा पड़ा था।
सोनू सूद ने स्पाइस मनी कंपनी के साथ की थी साझेदारी
पिछले साल दिसंबर में सोनू सूद ने स्पाइस मनी कंपनी के साथ साझेदारी की थी कि, वे एक करोड़ ग्रामीण उद्यमियों को आर्थिक रूप से सशक्त करेंगे। स्पाइस मनी ने उन्हें तीन साल के लिए ब्रांड अम्बेसडर बनाया है। सोनू सूद को ब्रांड अम्बेसडर के तौर पर कंपनी के दो प्रतिशत इक्विटी शेयर मिलने की भी बात थी।
जुड़ रहे हैं सोनू के दफ्तर पर छापे और बिहार में 960 करोड़ की लेनदेन के तार?
स्पाइस मनी नामक एक कंपनी जो कि जहां ग्रामीण इलाकों में बैंक की शाखांए नहीं हैं, वहां बैंक के एजेंट के रूप में सीएसपी और बैंक मित्र सुदूर के द्वारा काम करती है। सोनू सूद स्पाइस मनी के ब्रांड अम्बेसडर व नॉन-एग्जिक्यूटिव एडवाइजरी बोर्ड के सदस्य हैं। 15 सितंबर को सोनू सूद के घर और दफ्तर पर आयकर विभाग का छापा, साथ ही सोनू सूद का उसी कंपनी (स्पाईस मनी) से जुड़ाव जो उस इलाके में बैंकिंग सर्विस प्रदाता के रूप में सेवा देती है वाले तार काफी संदेहास्पद मालूम पड़ते है। यह साफ दर्शाता है कि कटिहार में 900 करोड़ रुपये का आना और धीरे-धीरे सारे रुपये वापस चले जाने का सोनू सूद की संपत्तियों पर छापा पड़ने के बीच कोई संबंध है।