
अमर भारती ब्यूरो
रिपोर्टर: गंगेश पाण्डेय
सलेमपुर, देवरिया। सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र सलेमपुर में बुधवार को उस समय हंगामा मच गया जब एक महिला मरीज को बार-बार जांच के लिए बुलाए जाने के बावजूद मशीन खराबी का हवाला देकर लौटा दिया गया। खास बात यह रही कि मरीज के परिजन स्वयं उसी केंद्र में स्टाफ के रूप में तैनात हैं।
जानकारी के अनुसार, अस्पताल में कार्यरत एक कर्मचारी अपनी बेटी को जरूरी जांच के लिए अस्पताल लेकर आए थे। लेकिन कई बार बुलाए जाने के बाद भी जांच नहीं की गई। हर बार मशीन में खराबी का बहाना बनाकर मरीज को वापस भेज दिया गया। इससे आक्रोशित परिजनों ने अस्पताल प्रशासन पर लापरवाही और पक्षपात का आरोप लगाया।
हंगामे के बीच अस्पताल प्रबंधन की ओर से बताया गया कि जिस मशीन से जांच होनी थी, उसका एडॉप्टर खराब हो गया है, और मरम्मत के अभाव में फिलहाल जांच संभव नहीं है। हालांकि, परिजनों का कहना है कि यह केवल बहाना है और उनके साथ भेदभावपूर्ण व्यवहार किया गया है।
मामले ने तब और गंभीर रूप ले लिया जब परिजनों ने यह भी आरोप लगाया कि अस्पताल के कुछ कर्मचारी सरकारी संसाधनों, विशेषकर अस्पताल के सरकारी वाहन का निजी उपयोग कर रहे हैं। इस आरोप ने पूरे अस्पताल प्रशासन को कठघरे में खड़ा कर दिया।
मामले की जानकारी मिलते ही सीएचसी अधीक्षक डॉ. अतुल कुमार ने तुरंत कार्रवाई करते हुए अनुशासनहीनता के आरोप में दो कर्मचारियों को डिलीवरी वार्ड से हटाकर ओपीडी में स्थानांतरित कर दिया। अधीक्षक ने यह भी स्पष्ट किया कि मामले की विस्तृत जांच की जाएगी और दोषियों पर उचित कार्रवाई की जाएगी।
स्थानीय लोगों ने भी अस्पताल की कार्यप्रणाली पर सवाल उठाए हैं और नियमित जांच सेवाओं में आ रही बाधाओं को लेकर नाराज़गी जताई है। उनका कहना है कि मशीनें अक्सर खराब पाई जाती हैं और मरीजों को निजी लैब में भेज दिया जाता है।
घटना के बाद अस्पताल परिसर में तनाव का माहौल बना रहा, हालांकि देर शाम तक स्थिति सामान्य हो गई थी।