अमर भारती : अब दिल्ली में कोई भी निजी अस्पताल दुर्घटना के पीड़ितों का इलाज करने से मना नहीं करेगा क्योकि दिल्ली सरकार ने साफ कर दिया है कि इसका सारा खर्च सरकार की तरफ से दिया जाएगा।। अब अगर इसके बाद भी इलाज न मिलने से किसी मरीज की जान जाती है तो संबंधित अस्पताल का लाइसेंस तक रद्द किया जा सकता है। मंगलवार को निजी अस्पताल के प्रबंधकों के साथ दिल्ली सरकार के मुख्य अधिकारियों ने इस बारे में बैठक की।
दरअसल दिल्ली सरकार ने पिछले साल फरवरी में एक योजना को शुरु किया था। इसके तहत सड़क दुर्घटना, एसिड अटैक आगजनी में घायल मरीजों के खर्च दिल्ली सरकार उठाएगी। फिर चाहे वो इलाज किसी निजी अस्पताल में क्यो न हो और अब तक न जाने कितने लोगो का इसका लाभ मिल चुका है।
गौरतलब है कि इससे पहले सुप्रीम कोर्ट ने भी इसका आदेश दिया था। लेकिन इलाज की रकम फंस जाने के चलते निजी अस्पताल कई बार मना कर देते थे। लेकिन दिल्ली सरकार की योजना से इलाज खर्च की दिक्कत भी खत्म हो गई थी। वैसे इन मामलो को लेकर सरकार को पहले लही कई शिकायतें मिल चुकी है।
इसमें अस्पताल प्रबंधकों से कहा गया है कि वह किसी भी हालत में तीनों मामलों में इंकार नहीं करेंगे। अगर ऐसा होता पाया गया तो सरकार की तरफ से कड़ा कदम उठाया जा सकता है। अगर इलाज न मिलने से मरीज की मौत हो जाती है तो सरकार अस्पताल का लाइसेंस भी रद्द कर सकती है।